आग में जिंदा जलने से हुई मासूम बहनों की मौत के मामले में बुआ गिरफ्तार

इंदौर : राजेन्द्र नगर थाना क्षेत्र के प्रकाश नगर में सोमवार देर रात दो मासूम बहनों के आग में जिंदा जलने के मामले में पुलिस ने पड़ौस में रहने वाली उनकी बुआ को बन्दी बना लिया है। दरअसल, पति से विवाद के बाद बुआ ने ही अपनी झोपड़ी में आग लगाई थी, जिसकी चपेट में पास की वो झोपड़ी भी आ गई जहां दोनों मासूम बहनें सो रही थीं।

ये था घटनाक्रम।

बताया जाता है कि आग में जिंदा जली मासूम बहनें मुस्कान 6 साल और छोटी बहन नंदू 4 साल अपनी दादी के साथ झोपड़ी में सो रही थीं। उनका पिता सोनू मेडा व मां ममता दिहाड़ी मजदूर हैं। उनका डेढ़ साल का बेटा युवराज भी है। दोनों बहनें ज्यादातर अपनी दादी के पास ही रहती थीं। बुआ बरखा, अपने पति कमल के साथ पड़ौस में रहती थी। बरखा ने कमल से डेढ़ साल पहले शादी की थी। पहले पति से उसके दो बच्चे हैं। कमल को शराब की लत होने से आए दिन उनमें झगड़े होते थे। इसी के साथ एक अन्य युवक से बरखा का मेलजोल भी उनमें झगड़े की वजह बन गया था। सोमवार को भी बरखा का पति से विवाद हुआ था। गुस्से में बरखा ने देर रात अपनी ही झोपड़ी में आग लगा दी।उस समय सोनू मेडा की दोनों बच्चियां अपनी दादी के साथ पड़ौस में सो रही थी। हैरत की बात ये है कि आग की लपटों में झोपड़ी घिरी तो दादी कविता, दोनों पोतियों मुस्कान व नंदू को झोपड़ी में ही छोड़कर बाहर निकल गई। जब चीख पुकार मची तो पता चला कि दोनों मासूम बहनें झोपड़ी में ही हैं। तब तक आग ने झोपड़ी को पूरीतरह अपनी चपेट में ले लिया था। दोनों मासूम तड़प- तड़पकर झोपड़ी में ही जिंदा जल गई। सूचना मिलने पर फायर ब्रिगेड ने मौके पर पहुंचकर आग बुझाई पर दोनों मासूमों की मौत हो चुकी थी।

पुलिस की पूछताछ में सामने आई सच्चाई।

पहले यही समझा जा रहा था कि आग शार्ट सर्किट की वजह से लगी।पुलिस कमिश्नर हरिनारायणचारी मिश्र भी मौके पर पहुंचे थे। उन्होंने घटना की जांच के निर्देश अधीनस्थ अधिकारियों को दिए थे। बाद में जब राजेन्द्र नगर पुलिस ने मासूम बच्चियों की बुआ बरखा और उसके पति से पूछताछ की तो सारी सच्चाई सामने आ गई।आरोपी बरखा को गिरफ्तार कर लिया गया है।

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